Homeभारतराजस्थानSpecial: राजस्थान सौर ऊर्जा पम्प स्थापना में देश में पहले नंबर पर

Special: राजस्थान सौर ऊर्जा पम्प स्थापना में देश में पहले नंबर पर

- Advertisement -spot_img

जयपुर। किसानों को सिंचाई के लिए बिजली की उपलब्धता पर निर्भर नहीं रहना पड़े, इसके लिए राज्य सरकार की ओर से किसानों को खेतों में सोलर पंप लगाने के लिए 60 प्रतिशत तक अनुदान देकर प्रोत्साहित किया जा रहा है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की इस पहल का ही परिणाम है कि प्रदेश के किसान सिंचाई के लिए कृषि विद्युत कनेक्शन, डीजल चलित संयंत्रों अथवा अन्य वैकल्पिक साधनों पर निर्भर होने की बजाय सौर पंप लगाने के लिए प्रेरित हो रहे हैं। सौर पंपों का खेतों में सिंचाई के लिए उपयोग होने से जहां किसानों की बिजली पर निर्भरता कम हुई है, वहीं प्रदेश में हरित ऊर्जा के रूप में सौर ऊर्जा के प्रयोग को भी बढ़ावा मिला है। सिंचाई में सुविधा होने से खेतों में उपज बढ़ी है और किसानों का विद्युत खर्च भी कम हुआ है, जिससे किसानों की आय में भी इजाफा हुआ है और वे आर्थिक रूप से सुदृढ़ हुए हैं। कृषि क्षेत्र में सौर ऊर्जा पंप संयंत्र स्थापित करने के लिए मुख्यमंत्री की ओर से की गई इस पहल के कारण पूरे देश में प्रदेश एक मॉडल स्टेट बन चुका है। साथ ही राजस्थान सौर ऊर्जा पंपों की स्थापना में देश में पहले पायदान पर है।

एससी, एसटी व टीएसपी क्षेत्र के अनुसूचित जाति के किसानों को विशेष अनुदान

कृषि आयुक्त कानाराम ने बताया कि कृषकों को सौर ऊर्जा पंप संयंत्र स्थापना करने पर इकाई की लागत का 60 प्रतिशत तक अनुदान दिया जा रहा है। राज्य सरकार की ओर से प्रदेश के अनुसूचित जाति व अनुसूचित जनजाति वर्ग के किसानों को 45 हजार रुपये का अतिरिक्त अनुदान तथा जनजातीय उप-योजना क्षेत्र मे अनुसूचित जनजातियों के किसानों को 3 व 5 एच.पी क्षमता के सौर पंप संयंत्र पर शत प्रतिशत अनुदान दिये जाने का भी प्रावधान किया गया है।

57 हजार से अधिक किसानों को मिला 982 करोड़ रुपये का अनुदान

कृषि आयुक्त ने बताया की सौर ऊर्जा पम्प परियोजना के तहत गत 4 वर्षों में 57 हजार 657 किसानों को संयंत्र स्थापित करने के लिए 982 करोड़ 95 लाख रुपये का अनुदान दिया गया है। वर्ष 2018-19 (दिसम्बर 2018 से) में 3 हजार 462 किसानों को 70 करोड़ 30 लाख रुपये का अनुदान दिया गया है। इसी प्रकार वर्ष 2019-20 में 10 हजार 4 किसानों को 57 करोड़ 81 लाख रुपये का, वर्ष 2020-21 में 13 हजार 880 किसानों को 133 करोड़ 39 लाख रुपये का, वर्ष 2021-22 में 10 हजार किसानों को 320 करोड़ 41 लाख रुपये का और वर्ष 2022-23 में अब तक 20 हजार 311 किसानों को 401 करोड़ 4 लाख रुपये का अनुदान देकर लाभान्वित किया गया है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की ओर से कृषि बजट घोषणा 2022-23 में आगामी 2 वर्षों में एक लाख किसानों को सोलर पम्प स्थापित करने के लिए 500 करोड़ रुपये का अनुदान दिया जाना प्रस्तावित है।

अनुदान के लिए सुनिश्चित की गयी पात्रता

सोलर पम्प संयंत्र पर अनुदान प्राप्त करने के लिए आवश्यक है कि कृषकों की ओर से कृषि एवं उद्यानिकी फसलों में सिंचाई के लिए ड्रिप, मिनी स्प्रिंकलर, माइक्रो स्प्रिंकलर अथवा स्प्रिंकलर संयंत्र काम में लिया जा रहा हो। योजना के तहत उच्च उद्यानिकी तकनीक जैसे ग्रीनहाउस, शेडनेट हाउस और लो-टनल्स काम में लेने वाले कृषक भी अनुदान के लिए पात्र हैं। पात्र किसानों को 3 एच.पी, 5 एच.पी और 7.5 एच.पी के सौर ऊर्जा पम्प संयंत्र लगाने के लिए अनुदान दिया जा रहा है।

3 एच.पी के सौर पंप संयंत्र हेतु आवेदन करने के लिए किसान के पास में 0.4 हैक्टेयर भूमि होना आवश्यक है। इसके अतिरिक्त किसान के पास एक हजार घन मीटर क्षमता का जल संग्रहण ढांचा या 400 घन मीटर क्षमता की डिग्गी या 600 घन मीटर क्षमता का फार्म पोण्ड या 100 घन मीटर क्षमता का जल हौज अथवा अधिकतम 100 मीटर गहराई का भूमिगत जल स्रोत होना चाहिये। 5 एच.पी के सौर पंप संयंत्र में आवेदन के लिए किसान के पास 0.75 हैक्टेयर भूमि होना आवश्यक है। साथ ही 2000 घन मीटर क्षमता का जल संग्रहण ढांचा या डिग्गी या फार्म पोन्ड अथवा अधिकतम 100 मीटर गहराई का भूमिगत जल स्रोत होना चाहिये। इसी प्रकार 7.5 एच.पी के सौर पंप संयंत्र के लिए किसान के पास में 1.0 हैक्टेयर भूमि होना आवश्यक है। साथ ही 7500 घन मीटर की क्षमता का जल संग्रहण ढांचा या डिग्गी अथवा अधिकतम 100 मीटर गहराई का भूमिगत जल स्रोत होना जरूरी है।

किसान ऐसे कर सकते हैं आवेदन

कानाराम ने बताया कि परियोजना के अंतर्गत लाभ लेने के लिए किसान राज किसान साथी पोर्टल पर जन आधार कार्ड के माध्यम से आवश्यक दस्तावेजों के साथ ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।

सोलर पम्प लगाने से धन्नाराम और महादेव की राह हुई सुगम

जयपुर जिले के ग्राम मुहाना निवासी धन्नाराम यादव ने बताया कि उन्होंने 7.5 एच.पी का सौर पंप संयंत्र स्थापित किया है, जिससे अब उनकी बिजली से निर्भरता खत्म हो गयी है। वे बताते है कि इससे पहले उनका बिजली का बिल 7 हजार रुपये मासिक आता था जो अब बिल्कुल नहीं आता है। इसके लिए वह मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत का बहुत बहुत आभार व्यक्त करते है। इसी प्रकार जयपुर जिले के ग्राम मुहाना निवासी महादेव कहते हैं उन्होंने 7.5 एच.पी का सोलर पंप संयंत्र स्थापित किया है, जिससे उनकी रात्रि में फसलो में पानी देने की समस्या से निजात मिल गई है। उन्होंने बताया कि संयंत्र लगवाने से पहले जब बिजली आती थी तब ही फसलां में पानी देना पड़ता था लेकिन अब उनकी यह समस्या बिल्कुल खत्म हो चुकी है। साथ ही पहले बिजली का बिल 3 हजार रुपये प्रति माह आता था जो अब बिल्कुल नहीं आता है। जिससे उनकी आय में तो वृद्धि हुई ही है और अब वे अपने परिवार के साथ भी समय व्यतीत करने लगे हैं।

- Advertisement -spot_img
- Advertisement -spot_img

Stay Connected

Must Read

- Advertisement -spot_img

Related News

- Advertisement -spot_img

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here