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राजस्थान में भजनलाल सरकार का बड़ा प्रशासनिक फेरबदल: 108 आईएएस अधिकारियों के तबादले, 20 को अतिरिक्त जिम्मेदारियां

जयपुर(शरद पुरोहित)। राजस्थान में भजनलाल सरकार ने अपने कार्यकाल का सबसे बड़ा प्रशासनिक फेरबदल किया है। इस फेरबदल में 108 आईएएस अधिकारियों के तबादले हुए हैं, जबकि 20 अफसरों को अतिरिक्त चार्ज दिया गया है। इस फैसले को राजस्थान की प्रशासनिक व्यवस्था में व्यापक सुधार के कदम के रूप में देखा जा रहा है, जहां विभिन्न विभागों और जिलों में नए अधिकारियों को जिम्मेदारी दी गई है।

जयपुर और अन्य प्रमुख जिलों के कलेक्टर बदले गए

फेरबदल के तहत जयपुर और कई अन्य प्रमुख जिलों में भी नए कलेक्टर नियुक्त किए गए हैं। जितेंद्र कुमार सोनी को जयपुर कलेक्टर बनाया गया है, जबकि हरीमोहन मीणा को डीग कलेक्टर नियुक्त किया गया है। इसके साथ ही, अलवर में अर्तिका शुक्ला को नया कलेक्टर नियुक्त किया गया है।

सरकार ने इस बार के फेरबदल में श्रीगंगानगर, जोधपुर, अजमेर, झुंझुनूं, और राजसमंद सहित अन्य जिलों में भी कलेक्टरों की जिम्मेदारियां बदली हैं। शुभम चौधरी को राजसमंद का कलेक्टर, और लोकबंधु को अजमेर कलेक्टर के रूप में नियुक्त किया गया है।

स्वास्थ्य और नगरीय विकास विभाग में प्रमुख बदलाव

भजनलाल सरकार ने अपने प्रशासनिक फेरबदल में स्वास्थ्य और नगरीय विकास विभाग में भी बड़े बदलाव किए हैं। गायत्री राठौड़ को प्रमुख शासन सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग का जिम्मा दिया गया है, जबकि वैभव गलारिया को नगरीय विकास एवं आवासन विभाग का प्रमुख शासन सचिव नियुक्त किया गया है।

राजेश कुमार यादव को प्रमुख शासन सचिव स्वायत्त शासन विभाग बनाया गया है, जबकि हेमंत कुमार गेरा को अध्यक्ष, राजस्व मंडल अजमेर नियुक्त किया गया है। इसके साथ ही, टी. रविकांत को प्रमुख शासन सचिव खाद्य और पेट्रोलियम विभाग की जिम्मेदारी दी गई है।

महिला अधिकारियों को दी गई महत्वपूर्ण जिम्मेदारी

इस बार के प्रशासनिक फेरबदल में भजनलाल सरकार ने महिला अधिकारियों को भी प्रमुख पदों पर तैनात किया है। आनंदी को जयपुर विकास प्राधिकरण (JDA) का आयुक्त नियुक्त किया गया है। वहीं, आरती डोगरा को डिस्कॉम्स जयपुर का चेयरमैन और JVVNL का प्रबंध निदेशक बनाया गया है।

महिला अधिकारियों को उच्च पदों पर नियुक्ति देना सरकार के इस फैसले को खास बनाता है। इससे यह संकेत मिलता है कि राज्य सरकार प्रशासन में महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने और उन्हें नेतृत्व की जिम्मेदारी देने के पक्ष में है।

अन्य प्रमुख तबादले

राज्य के अल्पसंख्यक मामलात और वक्फ विभाग में भी फेरबदल हुआ है। अश्विनी भगत को प्रमुख शासन सचिव बनाया गया है, जबकि भास्कर ए. सावंत को प्रमुख शासन सचिव जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी एवं भूजल विस्तार विभाग का जिम्मा सौंपा गया है।

सुधीर कुमार को प्रमुख सचिव खाद्य नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता मामले विभाग बनाया गया है, जबकि भवानी सिंह देथा को सदस्य, राजस्व मंडल अजमेर नियुक्त किया गया है। विकास सीतारामजी भाले को अध्यक्ष, राजस्थान सिविल सेवा अपील अधिकरण जयपुर की जिम्मेदारी दी गई है।

राज्य के विभिन्न विभागों में नए सचिव नियुक्त

राजस्थान के विभिन्न विभागों में भी नए सचिवों की नियुक्ति की गई है। नवीन जैन को शासन सचिव वित्त (व्यय) विभाग का चार्ज दिया गया है, जबकि कृष्ण कुमार पाठक को शासन सचिव कार्मिक विभाग नियुक्त किया गया है।

नीरज कुमार पवन को शासन सचिव युवा मामले एवं खेल विभाग का जिम्मा सौंपा गया है। इसके साथ ही, रवि जैन को शासन सचिव पर्यटन विभाग और डॉ. समित शर्मा को शासन सचिव पशुपालन मत्स्य और गोपालन विभाग के रूप में तैनात किया गया है।

जिलों में नई नियुक्तियां

जिलों में कलेक्टर पदों पर भी बड़े बदलाव हुए हैं। आशीष गुप्ता को अलवर कलेक्टर के रूप में नियुक्त किया गया है, जबकि डॉ. प्रदीप के. गवांडे को जालोर कलेक्टर बनाया गया है। रामावतार मीणा को झुंझुनूं कलेक्टर, शुभम चौधरी को राजसमंद कलेक्टर, और आशीष मोदी को चूरू कलेक्टर नियुक्त किया गया है।

इस फेरबदल में लोकबंधु को अजमेर कलेक्टर बनाया गया है, जबकि किशोर कुमार को खैरथल-तिजारा कलेक्टर के रूप में तैनात किया गया है। टीना डाबी, जिन्हें बाड़मेर कलेक्टर नियुक्त किया गया है, ने अपनी जिम्मेदारी संभालने की तैयारी शुरू कर दी है।

टीना डाबी और प्रदीप गवांडे की नई भूमिकाएं

भजनलाल सरकार के इस प्रशासनिक फेरबदल का मुख्य आकर्षण टीना डाबी और उनके पति प्रदीप गवांडे की नई भूमिकाएं रही हैं। टीना डाबी, जिन्होंने 2015 में आईएएस परीक्षा में टॉप किया था, को बाड़मेर कलेक्टर नियुक्त किया गया है। इससे पहले वे जयपुर और हनुमानगढ़ में अपनी सेवाएं दे चुकी हैं। उनके पति, प्रदीप के. गवांडे, को पहली बार जालोर कलेक्टर का प्रभार मिला है। यह उनकी पहली प्रमुख नियुक्ति मानी जा रही है।

प्रशासनिक फेरबदल के पीछे सरकार का मकसद

भजनलाल सरकार का यह प्रशासनिक फेरबदल राज्य की प्रशासनिक व्यवस्था को अधिक कुशल और जिम्मेदार बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। सरकार ने इस फेरबदल के जरिये उन अधिकारियों को महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां सौंपी हैं, जिनकी कार्यशैली और अनुभव से राज्य में विकास और प्रशासनिक सुधारों को गति मिल सकेगी।

राजस्थान में सत्ता परिवर्तन के बाद यह सरकार का पहला बड़ा प्रशासनिक फेरबदल है। इससे यह संकेत मिलता है कि सरकार प्रशासनिक ढांचे को मजबूत करने और विभागीय कार्यकुशलता को बढ़ाने पर जोर दे रही है। सरकार ने युवाओं और अनुभवी अधिकारियों के बीच संतुलन बनाते हुए उन्हें उनकी क्षमता के अनुसार जिम्मेदारियां सौंपी हैं।

विभागीय ढांचे में बड़े बदलाव

सरकार ने स्वास्थ्य, शिक्षा, ग्रामीण विकास, और अन्य महत्वपूर्ण विभागों में भी बदलाव किए हैं। अश्विनी भगत को अल्पसंख्यक मामलात और वक्फ विभाग की जिम्मेदारी दी गई है, जबकि भास्कर ए. सावंत को जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी और भूजल विस्तार विभाग का प्रमुख सचिव बनाया गया है।

वैभव गलारिया को नगरीय विकास और आवासन विभाग का प्रमुख सचिव नियुक्त किया गया है। इसके साथ ही, सुधीर कुमार को खाद्य नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता मामलों के प्रमुख सचिव के रूप में तैनात किया गया है।