जयपुर। गहलोत सरकार की ओर से प्रदेशभर में महंगाई राहत कैंप लगाए जा रहे हैं। महंगाई राहत कैंपों को लेकर सीएम गहलोत मंगलवार को कालाडेरा में थे। जहां उन्होंने महंगाई राहत शिविरों का अवलोकन किया। इस दौरान उन्होंने कहा कि हमारी 500 रुपए में गैस सिलेंडर देने की योजना से हर राज्य की सरकार और केंद्र तंग है। उन्हें लगता है कि अपने यहां सस्ता गैस सिलेंडर देना पड़ेगा।
इस दौरान लोगों को संबोधित करते हुए गहलोत ने कहा कि हमने 1000 रूपए पेंशन देने का काम किया है। इसके लिए उन्होंने एक उदाहरण दिया और कहा कि अब बुजुर्गों को बेटी, दोहिते-दोहिती को देने के लिए बहुओं के आगे हाथ नहीं फैलाना पड़ता। गहलोत ने कहा- यहां पर बुजुर्ग और महिलाएं बैठी हैं। घर पर बहन बेटी आ जाती है। उसे 50-100 रुपए देने होते हैं। हमने बुजुर्गों को कम से कम 1000 रुपए पेंशन दी है। इस पेंशन की अहमियत आप जानते होंगे। ससुराल से आपकी बेटी आ गई। दोहिते-दोहिती आ गईं। उन्हें कुछ देने का मन होता है। पेंशन आने पर आप आसानी से दे सकते हैं। जब पेंशन नहीं हो तो कई बार बहुओं से पैसा मांगना पड़ता है। बहू मना कर देती है।
गहलोत ने राजस्थानी में कहा- ‘बहुएं कह देती हैं की म्हार कन तो पिसा कोनी।’ जब बहुएं मना कर देती हैं। बुजुर्ग का मन खराब हो जाता है। वह खाना तक नहीं खाते। उनका मूड खराब हो जाता है कि बहू ने मना कर दिया। अब जब 1000 रुपए पेंशन आ रही है। आप चुपचाप दोहिते-दोहिती को मुट्ठी बंद करके पैसा हाथ में पकड़ा देते हैं।
गहलोत ने कहा- सरकार के पास पैसा आपके टैक्स से आता है। आपका पैसा आपके लिए है, यह हमारी योजनाओं की थीम है। हमारी योजनाएं शानदार हैं। आजादी के बाद से लेकर पिछले 75 साल में 250 कॉलेज खुले। जबकि हमारे चार साल के कार्यकाल में ही हमने 303 कॉलेज खोल दिए हैं। मैंने घोषणा कर रखी है जिस स्कूल में 500 छात्राएं होंगी वहां हम कॉलेज खोल देंगे।