राजस्थान में इन 23 मंत्रियों के साथ चलेगी गहलोत सरकार

राजस्थान के नवनिर्वाचित मुख्यमंत्री अशोक गहलोत आज अपनी सरकार में मंत्रीमंडल का गठन करने जा रहे हैं। गहलोत सरकार के मंत्रिमंडल में आज कुल 23 मंत्री शपथ लेने जा रहे हैं। इस बार 17 नए चेहरों को मंत्रीमंडल में शामिल किया जा रहा हैं। मंत्रियों का शपथग्रहण समारोह आज राजभवन में सुबह 11:30 बजे होगा।

एक नजर डाले गहलोत सरकार के मंत्रिमंडल पर

अशोक गहलोत- अशोक गहलोत भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के राजनेता तथा राजस्थान के वर्तमान मुख्यमंत्री है। अशोक गहलोत तीसरी बार राजस्थान के सीएम बने है। पहली बार वो 1998 से 2003 तक सीएम पद पर रह चुके है। इसके साथ दूसरी बार 2008 से 2013 में उन्होंने मुख्यमंत्री का पदभार संभाला था। जोधपुर के सरदारपुरा से विधायक है।

सचिन पायलट- भारतीय राजनीतिज्ञ तथा वर्तमान राजस्थान सरकार में उपमुख्यमंत्री हैं। सचिन पायलट भारत सरकार की पंद्रहवीं लोकसभा के मंत्रीमंडल में संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री में मंत्री रह चुके है। भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की ओर से राजस्थान के दौसा लोकसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करते हैं।

ये होंगे गहलोत सरकार के कैबिनेट मंत्री

बी.डी कल्ला

6 बार विधायक रह चुके कांग्रेस पार्टी के दिग्गज नेता बी.डी कल्ला राजस्थान में कैबिनेट मंत्री होंगे। जो पिछली गहलोत सरकार में शिक्षा व चिकित्सा मंत्री रह चुके हैं।

शांति धारीवाल- हाड़ौती में बड़े नेता के रुप में पहचाने जाने वाले कांग्रेस नेता शांति धारीवाल भी कैबिनेट बेड़े में शामिल हो रहे हैं। पिछली गहलोत सरकार में भी शांति कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं।

परसादी लाल मीना

राजनीति का लंबा अनुभव रखने वाले परसादी लाल मीना 6 बार विधायक रह चुके हैं। एक बार फिर गहलोत सरकार की कैबिनेट में शामिल होने जा रहे है।

लालचंद कटारिया

जयपुर शहरी क्षेत्र में बड़े जाट नेता के रुप में पहचान रखने वाले कटारिया विधायक व सांसद रह चुके हैं। मंत्री भी रह चुके हैं।

मास्टर भवंर लाल मेघवाल

पिछली सरकार में शिक्षा मंत्री रह चुके मेघवाल एससी वर्ग में अच्छी पहचान रखते हैं। एक बार फिर वे गहलोत सरकार के कैबिनेट का हिस्सा बने हैं।

प्रमोद जैन भाया

गहलोत सरकार में तीसरी बार चुनाव जीतने वाले भाया एक बार फिर मंत्रिमंडल में शामिल किया गया हैं।

एक नजर डालते है गहलोत सरकार के मंत्रिमंडल पर

ममता भूपेश – ममता भूपेश भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की राजनीतिज्ञ हैं। ये पहली बार गहलोत केबिनेट में शामिल होने वाली है जो आज राजभवन में मंत्रिमंडल की शपथ लेने वाली है। इससे पहले ममता भूपेश गहलोत सरकार में संसदीय सचिव रह चुकी है और वर्तमान में राजस्थान विधानसभा में सिकराय से विधायक हैं।

प्रताप सिंह खाचरियावास – प्रताप सिंह खाचरियावास सिविल लाइंस से विधायक है। ये भी पहली बार मंत्रिमंडल का हिस्सा बनने वाले है जिनका मंत्रिमंडल में शामिल होनेा पहले से ही तय है। प्रताप सिंह ने 2015 से राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता और जयपुर कांग्रेस के अध्यक्ष का पद संभाला है। इससे पहले उन्होंने 2008 से 2013 तक सिविल लाइंस विधानभवन में विधान सभा (एमएलए) के सदस्य के रूप में कार्य किया।

विश्वेंद्र सिंह – विश्वेन्द्र सिंह भरतपुर के महाराजा हैं और पूर्वी राजस्थान के बड़े जाट नेता है। तीन बार सांसद रह चुके है इसके साथ ही तीसरी बार विधायक बने है। वर्तमान में वे डेग कुम्हेर विधान क्षेत्र से राजस्थान की विधान सभा के सदस्य हैं। विश्वेंद्र सिंह पहली बार कांग्रेस मंत्रिमंडल का हिस्सा बनने जा रहे है।

टीकाराम जूली- अलवर ग्रामीण से दूसरी बार विधायक बने टीकाराम जूली नई सरकार के मंत्रीमंडल में शामिल होने जा रहे है। 38 साल के टीकाराम जूली अनुभवी राजनेता हैं। राजनीति करियर पर नजर डाले तो टीकाराम जूली बीजेपी  की टिकट पर चुनाव जीते थे। 2005 से 2008 तक जिला प्रमुख रहे। 2008 में बीजेपी से बागी होकर जूली ने कांग्रेस का हाथ थामा। 2008 से 2013 तक कांग्रेस से अलवर ग्रामीण विधानसभा से विधायक रहे। 2013 में उन्हें चुनाव में हार का सामना करना पड़ा था।

भजनलाल जाटव- एक बार फिर जीत का ताज अपने नाम करने वाले भजनलाल जाटव को पहली बार कांग्रेस के मंत्रिमंडल में शामिल किया जा रहा हैं। अपने छोटे से राजनीति करियर में जाटव ने वैर विधानसभा उपचुनाव में जीत दर्ज कराई जिसके बाद वे इस बार के विधानसभा चुनावों में भी जीत हासिल की हैं।

राजेंद्र यादव- विधायक राजेंद्र यादव ने लगातार दूसरी बार कोटपूतली से जीत हासिल की हैं। 2019 के लोकसभा चुनावों के लिए यादव वोट बैंक साधने के लिए मंत्रीमंडल में शामिल किया जा रहा हैं।

सुभाष गर्ग- पहली बार जीत हासिल करने वाले रालोद पार्टी के कांग्रेस सहयोगी सुभाष गर्ग को महागठबंधन के तहत कांग्रेस ने अपने मंत्रीमंडल में शामिल किया हैं।

गोविन्द सिंह टोडासरा – गहलोत के कैबिनेट में गोविन्द सिंह टोडासरा भी शामिल है। गोविन्द सिंह लक्ष्मणगढ़ से लगातार तीसरी बार विधायक के पद पर है। पिछले पांच वर्षो से विपक्ष में रहते हुए विधानसभा में इनका प्रदर्शन बहुत ही शानदार रहा। 2018 के विधानसभा चुनावो में गोविन्द सिंह के नाम दो रिकॉर्ड हो गए है, एक तो यह की इन्होने जीत की हैट्रिक लगा दी है और दूसरा इन्होने इस बार रिकॉर्ड मतों से जीत हासिल की है। गोविन्द सिंह 22 हज़ार 559 मतों से बड़ी जीत हासिल की है।

अर्जुन बामनिया- मंत्रिमंडल की गिनती में अर्जुन बामनिया भी शामिल है। अर्जुन बांसवाडा से लगातार तीसरी बार विधायक बन रहे है जिन्हे अब गहलोत के मंत्रिमंडल में शामिल किया गया है। कयास लगाए जा रहे है कि बामनिया को टीएडी या पंचायतीराज राज्यमंत्री का पद दिया जा सकता है। बामनिया को इस बार जीत हासिल करने के लिए काफी मेहनत करनी पड़ी क्योंकि गुटबाजी के चलते इस बार बामनिया की भी टिकट काटने के प्रयास किए गए थे। 

भंवर सिंह भाटी- भंवर सिंह भाटी ने कोलायत से दूसरी बार जीत हासिल करके अब गेहलोत मंत्रिमंडल में अपनी जगह बनाई है। गत वर्ष मोदी लहर के बावजूद भी इन्होने भाजपा के दिग्गज मंत्री देवीसिंह को हराया व खुद ने जीत प्राप्त की। इनका व्यवसाय कृषि एवं परिवहन है। पहले 2013 में ये कोलायत सरपंच के पद पर थे। व     2014-15 याचिका समिति के सदस्य थे। 

सुखराम विश्नोई- सुखराम विश्नोई सांचोर सीट से लगातार दूसरा चुनाव जीते है। मोदी लहर के बाद भी इस बार भी इन्होने अपनी जीत बरकरार रखी व कांग्रेस के मंत्रिमंडल में  विधायक का पद प्राप्त किया।इन्होने अपने राजनीतिक करियर की शुरुवात 1998 में ही कर दी थी। और अब यह प्रदेश कांग्रेस कमिटी के मेंबर है।  

अशोक चांदना- हिण्डोली से अशोक चांदना ने दूसरी बार जीत हासिल की है। यह युवा कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष है। विपक्ष की पार्टी में रहते हुए इनके काफी आक्रामक तेवर रह चुके है। इस बार के विधानसभा चुनाव में इन्होने जमकर मेहनत की है।  एक बात ये भी है कि अशोक चांदना गुर्जर है, लेकिन वह अशोक गहलोत के खेमे से आते हैं।  हाड़ौती से ये एकमात्र गुर्जर विधायक है।

हरीश चौधरी- बायतु बाड़मेर से चुनाव जीत कर पहली बार MLA बने है।  2009 में, बाड़मेर और जैसलमेर निर्वाचन क्षेत्र से 15 वीं लोकसभा के M.P चुने गए। 2009-14 में, वह रक्षा, पेट्रोलियम और गैस समिति, अनुमान समिति और नियम मंत्रालय समिति के सदस्य रहे हैं।वर्तमान में, वह अखिल भारतीय कांग्रेस समिति के सचिव और प्रदेश कांग्रेस समिति के सह-प्रभारी हैं। 

डॉ. रघु शर्मा – 2008 से 2013 तक अजमेर के केकड़ी से विधायक रह चुके हैं। वह अजमेर निर्वाचन क्षेत्र से 2018 में उपचुनाव में 16 वीं लोकसभा के लिए चुने गए थे। बीजेपी की लहार में चुनाव जीतकर सांसद बने। 2018 में ही विज्ञान और प्रौद्योगिकी, पर्यावरण और वन पर स्थायी समिति के सदस्य चुने गए। 

उदयलाल आंजना- निम्बाहेड़ा निर्वाचन क्षेत्र से विधायक चुने गए है। चित्तौड़गढ़ निर्वाचन क्षेत्र से 1998 में 12वीं लोकसभा के लिए चुने गए।2014 में जालोर से लोक सभा चुनावो के लिए कांग्रेस प्रत्याशी थे। 

सालेह मोहम्मद- पोकरण से विधायक चुने गए है। दूसरी बार विधायक चुने गए है। पहले 2008 में पोकरण से ही चुने गए थे। 2000-2005 तक पंचायत समिति जैसलमेर के प्रधान व 2005-2008 जैसलमेर जिला प्रमुख रह चुके है। 

रमेश चंद मीणा- रमेश चंद  सपोटरा से विधायक पहली बार मंत्रिमंडल में शामिल होने जा रहे है। रमेश तीसरी बार विधानसभा में चयनित हुए हैं।

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