चौक टीम, जयपुर। राजस्थान की वित्त मंत्री दिया कुमारी द्वारा पेश किए गए भजनलाल सरकार के पहले पूर्ण बजट पर गुरुवार से विधानसभा में चर्चा हो रही है। इस दौरान भारी हंगामा भी देखने को मिल रहा है, क्योंकि विपक्षी पार्टियां पहले ही इस बजट को दिशाहीन करार दे चुकी हैं। इसलिए विपक्ष के लोग जमकर सरकार पर निशाना साध रहे हैं।
दरअसल, राजस्थान कांग्रेस के अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने जहां इस बजट को आंकड़ों व शब्दों का मायाजाल बताया है, वहीं पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने पेट्रोल-डीजल के दाम कम न करने का मुद्दा उठाते हुए सरकार को घेरा है। ऐसे में आज 11 बजे प्रश्नकाल के साथ राजस्थान विधानसभा की कार्यवाही शुरू हो गई है, जिसमें वित्त विभाग, PWD, चिकित्सा और ग्रामीण विकास विभाग से संबंधित सवाल पूछे गए।
‘अब क्या राजस्थान सहने के लिए मजबूर है’- इंदिरा मीणा
भाजपा की सरकार ने नारा दिया था- ‘अब नहीं सहेगा राजस्थान’. कांग्रेस विधायक इंद्र मीणा ने पूछा- अब क्या राजस्थान सहने के लिए मजबूर है? डिंपल मीणा प्रकरण को तोड़ मरोड़ के किस लेवल पर ले जाया जा चुका है। परिवार सीबीआई की जांच मांग रहा है. क्या आप उसकी अनुमति देंगे?
विधानसभा में मंत्री द्वारा दिए गए जवाब में बताया गया कि पिछले 6 महीने में महिला अपराध के सबसे ज्यादा 881 मामले अलवर में दर्ज हुए हैं। दूसरे नंबर पर भरतपुर है, जो राजस्थान के सीएम भजनलाल शर्मा का गृह क्षेत्र है। इस दौरान मंत्री ने जितनी भी योजनओं का जिक्र किया वो सभी कांग्रेस सरकार में चलाई गई थीं।
लापरवाह अधिकारियों पर क्या कार्रवाई होगी?
वहीं इससे पहले राज्य मंत्री ओटा राम देवासी ने इस सवाल का जवाब देते हुए कहा कि करणपुर विधानसभा में 347 निर्धारित कार्य में से जो 200 कार्य पेंडिंग हैं, उन्हें जल्द ही पूरा कर लिया जाएगा। आचार संहिता के कारण इसमें देरी हुई है। हालांकि राज्य मंत्री ने काम न करने वाले अधिकारियों पर कार्रवाई के संबंध में कोई जवाब नहीं दिया. इसके बाद नेता प्रतिपक्ष ने सवाल उठाए, जिसके बाद स्पीकर ने कहा कि मैंने व्यवस्था दे दी है। कार्रवाई जरूर होगी।
बजट से नाखुश नजर आए रविंद्र सिंह भाटी
राजस्थान की शिव विधानसभा सीट से निर्दलीय विधायक रविंद्र सिंह भाटी बजट से नाखुश नजर आ रहे हैं। गुरुवार को विधानसभा में पत्रकारों से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि पश्चिमी राजस्थान की बजट में अनदेखी की गई है। बाड़मेर जैसलमेर लोकसभा क्षेत्र में पानी का संकट है। इसके बावजूद बजट में इस ओर ध्यान नहीं दिया गया है। इस बजट से पूरी तरीके से निराशा हुई है।